Table of Contents
किसान क्रेडिट कार्ड से सम्बंधित जानकारी
किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) किसानो के लिए शुरू की गई एक कल्याणकारी योजना है | इस कार्ड की सहायता से किसानो को खेती से जुड़े उपकरणों जैसे खाद, बीज, कीटनाशक इत्यादि की खरीद के लिए किसानो द्वारा लिए जाने वाले महाजनो व् महंगे दरों वाले कर्जो पर होने वाली निर्भरता को भारत सरकार द्वारा वर्ष 1998 में किसान क्रेडिट कार्ड स्कीम को लागू कर दिया है|
इस योजना के तहत कार्डधारक किसान अपनी जरूरतों की चीज़ो को खरीद कर और फसल बेचने के बाद लिए गए कर्ज को चुका सकता है | किसान क्रेडिट कार्ड से जुड़ी सम्पूर्ण जानकारी जैसे किसान क्रेडिट कार्ड क्या होता है, KCC Scheme Explained in Hindi, योजना के लिए डॉक्यूमेंट, प्रक्रिया इसके बारे में बताया जा रहा है|
किसान क्रेडिट कार्ड योजना 2024 (Kisan Credit Card Scheme)
किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) किसानो के लिए एक लाभकारी योजना है | यह भारत सरकार द्वारा वर्ष 1998 में शुरू हुई | इस कार्ड की सहायता से किसानो को आसानी से खेती के लिए पर्याप्त ऋण (लोन) उपलब्ध हो जाता है | जिससे किसान कृषि से सम्बंधित सामग्री जैसे खाद – बीज, कीटनाशक आदि खरीद सकते है | इस योजना का आरम्भ नाबार्ड और रिज़र्व बैंक ऑफ़ इंडिया ने मिलकर किया था | इसे किसी भी किसान के लिए को-ऑपरेटिव बैंक (Co-Operative), क्षेत्रीय ग्रामीण या पब्लिक सेक्टर के किसी भी बैंक द्वारा प्राप्त किया जा सकता है|
इस योजना के अंतर्गत कार्ड धारक किसान को 1 लाख से अधिक तक का ऋण लेने पर किसानो को अपनी जमीन सम्बन्धित सही – सही जानकारी आवश्यक दस्तावेजों के माध्यम से देनी होती है, उसके बाद यदि आपके दस्तावेज सही पाए जाते है तो आपके लिए लोन पास कर दिया जाता है | फिर किसान ऋण प्राप्त कर अपनी जरूरत के मुताबिक इस्तेमाल कर सकता है | किसान क्रेडिट कार्ड की वैधता 5 वर्ष तक की होती है|
किसान क्रेडिट कार्ड क्या होता है
किसान क्रेडिट कार्ड ब्याज दरों में छूट तथा खासियत (KCC Interest Rates Rebate and Specialty)
किसान क्रेडिट कार्ड के माध्यम से सरकार किसान भाइयों को कृषि से सम्बंधित कार्यों के लिए बेहद सस्ते दर पर कर्ज दिया जाता है| किसान भाई इस कार्ड के माध्यम से 5 वर्षों में 3 – 4 लाख रुपये तक का ऋण लिमिट बढ़वाकर आसानी से प्राप्त कर सकते है| यदि लोन ली गयी धनराशि को वह निर्धारित समय पर जमा कर देते है, तो उन्हें ब्याज दरों में जबरदस्त छूट का लाभ मिलता है|
किसान क्रेडिट कार्ड पर लिए जाने वाले ऋण पर सरकार 2 प्रतिशत की सब्सिडी प्रदान करती है और समय से चुकाने पर 3 प्रतिशत की छूट मिलती है, इस प्रकार किसान भाइयों को सिर्फ ऋण पर 4 प्रतिशत की दर ब्याज चुकाना होता है|
किसान क्रेडिट कार्ड का उद्देश्य (KCC Purpose)
आज भी हमारे देश में किसानों की संख्या बहुत अधिक है, जिनकी आर्थिक स्थिति काफी दयनीय है | हालाँकि सरकार द्वारा उनके उत्थान के लिए हर संभव प्रयास किये जा रहे है| दरअसल किसानों की कमाई का जरिया सिर्फ खेती है, ऐसे में यदि उन्हें कृषि या किसी कारणवश उन्हें धन की आवश्यकता पड़ जाती है तो उनके समक्ष सिर्फ दो ही विकल्प उपलब्ध होते है| जिसमें से पहला विकल्प बैंक से ऋण लेना, जिसमें कागजी कार्यवाही में कितना समय लग जाये इसकी कोई समय सीमा नही है |
जबकि दूसरा विकल्प साहूकार से ब्याज पर पैसा उधर लेना| साहूकार से ब्याज पर पैसे उधार लेने पर ब्याज की दर इतनी अधिक होती है, जिसकी भरपाई करनें में उनकी आर्थिक स्थिति और भी ख़राब हो जाती है | इस प्रकार की समस्याओं से निजात दिलानें के लिए भारत सरकार द्वारा किसान क्रेडिट कार्ड योजना की शुरुआत की गयी है| इस स्कीम के माध्यम से किसान भाई अपनी आवश्यकता के अनुरूप धन की प्राप्ति कर सकते है| सबसे खास बात यह है, कि इसमें कागजी प्रक्रिया काफी सरल होनें के साथ ही ब्याज दर काफी कम होती है|
किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने हेतु आवश्यक भूमि (Kisan Credit Card Land Required)
किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने के लिए सबसे पहली शर्त यह है, कि किसान के पास स्वयं की कृषि योग्य भूमि होनी चाहिए | अब प्रश्न यह उठता है, कि केसीसी के लिए कितनी जमीन होना आवश्यक है और कितनी भूमि पर कितना ऋण मिलेगा ? आपकी जानकारी के लिए बता दें. कि इसका निर्धारण जिले स्तर पर गठित तकनीकी समिति द्वारा किया जाता है, जिसे डीएलसी (District Level Committee) के नाम से जाना जाता है | इस समिति के अध्यक्ष डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट (जिलाधिकारी) होते है|
बैंक द्वारा भूमि बंधक करने की प्रक्रिया (KCC Procedure for Mortgage Of Land By Bank)
स्वाभाविक रूप से बैंक द्वारा जब भी किसी कृषक या व्यक्ति को सम्बंधित कार्य के लिए लोन की मंजूरी तभी दी जाती है, जब बैंक को इस बात की पुष्टि कर लेती है कि अमुख व्यक्ति द्वारा ऋण की राशि समय से चुकाने में सक्षम है| इसके अलावा बैंक ऋण दी राशि के बदले भूमि, प्लाट, घर या कोई संपत्ति को बंधक कर लेती है| ताकि ऋणदाता द्वारा ऋण न चुकाने की स्थिति में उनकी संपत्ति को बेचकर ऋण का भुगतान किया ज सके |
हालाँकि किसान क्रेडिट कार्ड द्वारा ऋण लेने पर कृषक की भूमि को बैंक द्वारा बंधक किया जा सकता है परन्तु आपकी भूमि को बैंक द्वारा तभी बंधक किया जा सकता है, जब आपकी ऋण राशि 1 लाख 60 हजार से अधिक होती है| दूसरे शब्दों में 1,60,000 से अधिक का लोन लेने पर भूमि बंधक करने का प्रावधान किया गया है| यदि ऋण की राशि इससे कम है, तो भूमि बंधक नही की जाएगी|
भूमि बंधक प्रक्रिया के अंतर्गत, बैंक द्वारा ऋण की स्वीकृति देने से पूर्व एक अग्रीमेंट लेटर कुल 5 प्रतियों में तैयार किया जाता है और प्रत्येक प्रति पर ऋण लेने वाले व्यक्ति के हस्ताक्षर करवाए जाते है | बंधक पत्र (Mortgage Deed) को लोन देने की तिथि से 1 माह के अन्दर 2 प्रतियाँ तहसील और दो प्रतियाँ रजिस्ट्री ऑफिस में वकील के माध्यम से भेजी जाती है | तहसील में इसका प्रभार दर्ज करने के पश्चात 1 प्रति बैंक को वापस कर दी जाती है| इस प्रकार बैंक द्वारा भूमि बंधक की प्रक्रिया पूरी हो जाती है|
किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने हेतु आवश्यक दस्तावेज (Kisan Credit Card Required Documents)
आपकी जानकारी के लिए बता दें, कि किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) की सुविधा सिर्फ उन्ही किसानों को प्रदान की जाती है, जिनके पास स्वयं की कृषि योग्य भूमि होती है| किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने हेतु आवश्यक दस्तावेज इस प्रकार है-
- खसरा – खातौनी (Khasra Khatauni)
- पता सहित निवास प्रमाण पत्र (Residence Certificate with Address)
- ऋण राशि ढेढ़ लाख से अधिक होनें पर तहसील से बना हुआ बारह्साला (Barhsala made by Tehsil)
- नजदीकी बैंकों द्वारा प्रदत्त नोड्यूज सर्टिफिकेट (No dues Certificate)
- आवेदक का सिबिल स्कोर से 675 से अधिक होना चाहिए|
किसान द्वारा ऋण न लौटाने पर क्या होता है
यदि किसी किसान भाई द्वारा ऋण लेने के 2 वर्ष पश्चात तक ऋण जमा नही जमा किया जाता है, तो उनके अकाउंट एनपीए (गैर निष्पादित परिसंपत्तियां) हो जाता है | इसके पश्चात सम्बंधित बैंक द्वारा आरसी अर्थात वसूली पत्र (RC) फाइल की जाती है | आरसी जारी होनें के पश्चात वसूली का कार्य डिस्ट्रिक्ट एडमिनिस्ट्रेशन द्वारा किया जाता है | इस प्रक्रिया के अंतर्गत तहसील द्वारा अमीन के माध्यम से वसूली अभियान चलाकर धन की वसूली की जाती है| इसके बावजूद भी यदि ऋण की भरपाई नही की जाती है, तो सम्बंधित व्यक्ति को कारावास भेज दिया जाता है|
किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने कि प्रक्रिया (Procedure for Making Kisan Credit Card)
- किसान क्रेडिट कार्ड आप दो तरह से बनवा सकते है पहला आप जिस बैंक में क्रेडिट कार्ड बनवाना चाहते है उस बैंक कि वेबसाइट पर जाकर उस बैंक के किसान क्रेडिट कार्ड सेक्शन पर जाकर आवेदन फॉर्म डाउनलोड कर प्रिंट कर ले|
- प्रिंट निकलने के बाद इस फॉर्म ठीक तरह से भर ले |
- अब यह फॉर्म अधिकतर बैंको की कॉमर्शियल वेबसाइट पर उपलब्ध है |
- भरे हुए फॉर्म के साथ आवश्यक दस्तावेजों कि प्रतिलिपि लगा कर निकटतम बैंक की शाखा में जमा कर दे|
- अब लोन अधिकारी आवेदक के साथ जरूरी जानकारी को साझा करेगा |
- इसके बाद ऋण की सीमा तय होते ही कार्ड को भेज दिया जायेगा |
- किसान क्रेडिट कार्ड बनवाने के लिए किसान किसी भी वाणिज्यिक बैंक शाखा में जाकर किसान क्रेडिट कार्ड के लिए आवेदन कर सकते है, व बैंक के समक्ष अधिकारी से भी मिल सकते हैं |
- इसके अलावा आप इसकी आधिकारिक वेबसाइट https://pmkisan.gov.in पर जाकर किसान योजना और किसान मानधन योजना से सम्बंधित जानकारी भी प्राप्त कर सकते हैं|
- इसके बाद आपको यहाँ से एक फॉर्म डाउनलोड करना होगा, जिसे भरने के बाद आप जमा करके किसान क्रेडिट कार्ड का लोन आसानी से प्राप्त कर सकते है|
- यह फॉर्म इस प्रकार है:-
- फॉर्म में सभी जानकारी सही सही भरें |
मछली पालन के लिए निःशुल्क प्रशिक्षण